उत्तराखंड: इस नौजवान ने शुरू की माणा गांव से कन्याकुमारी तक साइकिल यात्रा..जानिए वजह
सोमेश पंवार ने माणा (बद्रीनाथ) से लेकर कन्याकुमारी तक लोगों को पॉल्यूशन फ्री इंडिया के प्रति जागरूक करने के लिए 4 हजार किमी से भी लंबी साइकिल यात्रा शुरू की है
Nov 4 2020 6:45PM, Writer:Komal Negi
अगर हम अपने आसपास हवा को महसूस करें तो वह वैसी शुद्ध नहीं रही जो कई सालों पहले हुआ करती थी। हमारे आस-पास हवा के अंदर काफी अशुद्धता आ चुकी है और यह धीरे-धीरे दूषित होती जा रही है जो कि हमारे स्वास्थ्य के लिए और प्रकृति के लिए भी बेहद खतरनाक है। कारण है इंसान का आधुनिकीकरण की तरफ बढ़ना। हालांकि पर्यावरण संरक्षण के मुद्दे अब उठाए जा रहे हैं। कई लोग पॉल्यूशन जैसी गंभीर समस्याओं को लेकर अपनी आवाज उठा रहे हैं और लोगों को जागरूक कर रहे हैं। कई युवा लोगों को सचेत कर रहे हैं ताकि हम और हमारी आने वाली पीढ़ी स्वच्छ और बेहतर जीवन जी सकें। इन्हीं लोगों की सूची में अपना जोड़ा है उत्तराखंड के चमोली जिले के सोमेश पंवार ने। उत्तराखंड के निवासी सोमेश ने देश के अंतिम गांव माणा, बद्रीनाथ से लेकर कन्याकुमारी तक लोगों को पॉल्यूशन फ्री इंडिया के प्रति जागरूक करने के लिए साइकिल यात्रा शुरू की है। सोमेश का कहना है साइकिल यात्रा के दौरान पोलूशन फ्री इंडिया के साथ कोरोना संक्रमण एवं " ग्रीन हिमालय, क्लीन हिमालय" का संदेश भी यात्रा के दौरान देंगे जिससे लोगों के बीच में पर्यावरण संरक्षण को लेकर जागरूकता फैलेगी।
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यह साइकिल यात्रा 4000 किलोमीटर से भी अधिक दूरी की है और उन्होंने 40 दिनों में यह सफर तय करने का लक्ष्य रखा है। सोमेश ने बताया कि यह पहली बार है जब प्रदेश के अंतिम गांव माणा बद्रीनाथ से कन्याकुमारी तक के लिए साइकिल के जरिए इतनी लंबी दूरी तय की जाएगी। सोमेश ने कहा कि यह यात्रा उनके लिए बेहद खास है और वे इसके लिए काफी उत्साहित हैं। चमोली जिले के बद्रीनाथ स्थित बामणी गांव पांडुकेश्वर के निवासी सोमेश पेशे से ट्रैकिंग से जुड़े हुए हैं और उन्होंने पर्यावरण की हालत को और पल्यूशन के चलते बद्रीनाथ से कन्याकुमारी तक साइकिल द्वारा यात्रा करने की ठानी है। उन्हें हाल ही में बीते 1 नवंबर को बद्रीनाथ के धर्माधिकारी भुवन चंद्र उनियाल ने शुभकामनाएं देकर रवाना किया। उन्होंने कहा है कि सोमेश पर्यावरण, हिमालय की जड़ी बूटियों समेत जीव जंतुओं के बारे में काफी जानकारी रखते हैं। इसलिए वे पर्यावरण संरक्षण के लिए आम जनता को अपनी यात्रा के दौरान बेहतर ढंग से समझा सकते हैं।
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सोमेश पंवार जयपुर, राजस्थान, दिल्ली, पुणे और कर्नाटक जैसे स्थानों का भ्रमण कर लगभग 40 दिनों में यह सफर तय करने का प्रयास करेंगे। उनकी साइकिल यात्रा 4000 किलोमीटर से अधिक दूरी की है। साइकिल यात्रा के दौरान रास्ते में पड़ने वाले गांव, नगरों एवं कस्बों में लोगों को पर्यावरण के प्रति जागरूक करेंगे। सोमेश का मानना है लॉकडाउन के दौरान हवा की गुणवत्ता में काफी अधिक सुधार आया था जो कि हम सब ने महसूस भी किया था मगर एक बार फिर से हवा की गुणवत्ता वापस से खराब दिखाई दे रही है। दिल्ली जैसे शहरों में हवा बेहद खतरनाक हो चुकी है। उन्होंने कहा कि अगर हम प्रकृति को उसका स्पेस देंगे तो वह भी मनुष्य को रहने के लिए एक बेहतर स्थान और एक बेहतर वातावरण देगी। यही कारण है कि वे बदरीनाथ स्थित माणा से कन्याकुमारी तक साइकिल पर यात्रा कर रहे हैं। बदरीनाथ के धर्माधिकारी भुवन चन्द्र उनियाल द्वारा उनको बीते 1 नवंबर को पर्यावरण संरक्षण से जुड़ी साइकिल यात्रा के लिए रवाना किया गया।