उत्तराखंड की गेवाड़ घाटी के गधेरे में मिला प्राचीन एकमुखी शिवलिंग, जानिए दिलचस्प कहानी
पुरातत्व विभाग की टीम ने शिवलिंग का अवलोकन करने के बाद इसके नौवीं-दसवीं शताब्दी का होने का अनुमान लगाया है।
Sep 25 2023 5:24PM, Writer:अनुष्का ढौंडियाल
अल्मोड़ा के गेवाड़ घाटी के हाट गांव के नौला गधेरे में एक प्राचीन शिवलिंग मिलने से लोगों में कौतूहल देखने को मिल रहा है।
Ancient Shivling found in Almora
जी हां, पुरातत्व विभाग की टीम ने शिवलिंग का अवलोकन करने के बाद इसके नौवीं-दसवीं शताब्दी का होने का अनुमान लगाया है। शिवलिंग के होने की सूचना मिलते ही वहां लोगों की भीड़ जमा हो रखी है, जो कि उनके दर्शन करने के लिए उत्सुक है। शिवलिंग के दर्शन करने को लगातार श्रद्धालु पहुंच रहे हैं। यह मूर्ति करीब चार फीट लंबी व छह क्विंटल वजनी है। इसके लिए जगह चुनने का कार्य चल रहा है। दरअसल बीते 14 सितंबर को चौखुटिया के हाट गांव के गधेरे में प्राचीन एकमुखी शिवलिंग मिला था। आगे पढ़िए
इस शिवलिंग के मिलने के पीछे भी एक बड़ी दिलचस्प कहानी है। ग्रामीणों के अनुसार करीब चार दशक पूर्व यह मूर्ति नौला गधेरे में आई बाढ़ के चलते मलबे में दब गई थी। इस बार बरसात में गधेरे के भू-कटाव से शिवलिंग का ऊपरी हिस्सा फिर प्रकट हो गया। भारी होने से पूरी तरह से जमीन से बाहर नहीं निकल सका। ग्रामवासियों ने खुदाई कर शिवलिंग के एक बड़े भाग को बाहर निकाल लिया, लेकिन अधिक वजन के चलते शिवलिंग पूरी तरह जमीन से बाहर नहीं निकल सका। इसके बाद मानव जनकल्याण समिति ने लोडर की मदद से शिवलिंग को जमीन से सुरक्षित निकाल लिया।क्षेत्रीय पुरातत्व अधिकारी डा. सीएस चौहान के नेतृत्व में मूर्ति का अवलोकन करने गई टीम ने ग्रामीणों को इस शिवलिंग को अल्मोड़ा संग्रहालय में रखने का सुझाव दिया। वहीं ग्रामीणों का कहना है कि शिवलिंग लोगों की श्रद्धा व मान्यता से जुड़ा है। ग्रामीणों ने इसे मन्दिर में स्थापित करने का सुझाव दिया है।