पहाड़ के लोग दिल्ली-NCR में बने गरीबों के मददगार, कोरोना संकटकाल में पेश की मिसाल
पहाड़ी लोगों का ये संगठन दिल्ली में बेहतरीन काम कर रहा है। इस बारे में जानकर आप भी गर्व से भर उठेंगे...पढ़िए पूरी खबर...तस्वीरें भी देखिए
May 12 2020 3:20PM, Writer:कोमल नेगी
लॉकडाउन में काम-धंधे बंद हुए तो ज्यादातर लोग वक्त बदलने का इंतजार करते हुए घरों में बैठ गए। कुछ लोग शहर छोड़कर गांव लौट आए, लेकिन इनमें कुछ लोग ऐसे भी थे, जिन्होंने मायूसी भरा यह इंतजार करने के बजाय हौसला दिखाते हुए मुश्किल के इस वक्त को इंसानों की सेवा का जरिया बना लिया। ऐसे ही कुछ लोगों का एक समूह है कात्यायिनी चैरिटेबल ट्रस्ट। प्रवासी उत्तराखंडियों का ये संगठन दिल्ली- गाजियाबाद, वसुंधरा, इंद्रापुरम, नोएडा या फिर खोडा में गरीब और बेसहारा लोगों का पेट भरने का इंतजाम कर रहा है। संगठन से जुड़े ज्यादातर लोग पौड़ी गढ़वाल के रहने वाले हैं। संगठन के निदेशक गोपाल असवाल हैं, जबकि महासचिव पद की जिम्मेदारी कात्यायिनी घिल्डियाल के पास है। संगठन से जुड़ी कुसुम असवाल भी घर-घर जाकर गरीबों की मदद कर रही हैं। पहाड़ के लोगों का ये संगठन दिल्ली में इतना शानदार काम कर रहा है, जिसके बारे में जानकर आप भी गर्व से भर उठेंगे। कोरोना वायरस के संक्रमण काल में जब अलग-अलग राज्यों में फंसे प्रवासी बस किसी तरह पहाड़ लौट आने के लिए तड़प रहे थे, उस मुश्किल वक्त में इस संगठन के लोगों ने पहाड़ जाने के बजाय दिल्ली में रहकर जरूरतमंदों की सेवा करने की ठानी। आगे भी पढ़िए
हर मुश्किल पर जीत
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ये आसान नहीं था, लेकिन इन्होंने हर मुश्किल पर जीत हासिल कर वो किया, जो इंसानियत के लिए सबसे ज्यादा जरूरी था। कात्यायिनी ट्रस्ट दिल्ली में रहकर गरीबों और जरूरतमंदों तक राशन पहुंचा रहा है।
बेहतरीन काम कर रहा है ट्रस्ट
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जब ये ट्रस्ट शुरू हुआ था तो इसमें सिर्फ 11 लोग थे, आज ट्रस्ट के सदस्यों की संख्या 60 हो चुकी। दिल्ली के अलग-अलग क्षेत्रों में रहने वाले लोग ट्रस्ट से जुड़ रहे हैं। कात्यायिनी चैरिटेबल ट्रस्ट का मुख्य उद्देश्य उन लोगों तक राशन पहुंचाना है, जिन्हें वास्तव में इसकी सबसे ज्यादा जरूरत है।
ये है ट्रस्ट का ध्येय
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ट्रस्ट के अध्यक्ष गोपाल असवाल और उनकी पत्नी कुसुम असवाल कहती हैं कि उनकी गाड़ी में गरीबों और जरूरतमंदों के हर वक्त राशन उपलब्ध रहता है। जहां भी कोई गरीब या जरूरतमंद मिलता है, उस तक राशन पहुंचाया जाता है। आपको बता दें कि कात्यायिनी चैरिटेबल ट्रस्ट लगातार समाजसेवा के कार्य करता आ रहा है।
हर किसी तक पहुंचे मदद
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बीते 9 फरवरी को देहरादून में ट्रस्ट की तरफ से ‘एक सुबह दिव्यांगों के नाम’ कार्यक्रम आयोजित किया गया था। जिसमें दिव्यांगों को व्हील चेयर के अलावा जरूरत की कई चीजें दी गई थी। लॉकडाउन के बीच जहां अपने भी मदद नहीं कर पा रहे हैं। ऐसे मुश्किल वक्त में कात्यायिनी चैरिटेबल ट्रस्ट ने गरीबों की सेवा कर इंसानियत की मिसाल पेश की है। इस ट्रस्ट को हमारी तरफ से भी शुभकामनाएं