उत्तराखंड: पिता की मौत से टूट चुकी थी रेनू..कड़े संघर्ष के बाद बनी मार्शल आर्ट्स कोच
रेनू की सफलता का सफर आगे बढ़ ही रहा था कि तभी साल 2017 में रेनू के पिता जोत सिंह का अचानक निधन हो गया। पिता की मौत ने उन्हें झकझोर दिया। आगे पढ़िए पूरी खबर
Apr 14 2021 11:57AM, Writer:Komal Negi
किसी ने सच ही कहा है, संघर्ष जितना कठिन हो, सफलता उतनी ही शानदार होगी। अब चंपावत की रहने वाली रेनू बोरा को ही देख लें। मार्शल आर्ट के क्षेत्र में पहचान बनाने के लिए इस बेटी को न जाने कितने संघर्षों से गुजरना पड़ा। तमाम तरह की परेशानियां झेलनी पड़ीं, लेकिन रेनू को आखिरकार अपना मुकाम मिल ही गया। राष्ट्रीय स्कूल गेम्स में दो बार पदक जीतने वाली रेनू बोहरा को नेशनल कराटे एकेडमी इंडिया ने हल्द्वानी का कोच नियुक्त किया है। पहाड़ की ये होनहार बेटी अब दूसरी प्रतिभाशाली बेटियों के हुनर को तराशने का काम करेगी। रेनू बोरा मूलरूप से चंपावत की रहने वाली हैं। बचपन से ही मुफलिसी में पली-बढ़ी रेनू इस वक्त हल्द्वानी में अपनी मां नीलावती देवी के साथ किराए के कमरे में रहती हैं। रेनू के पिता जोत सिंह पोस्टमैन थे। परिवार में आर्थिक तंगी थी, लेकिन उन्होंने इसे बिटिया की सफलता के आड़े नहीं आने दिया। उन्होंने रेनू को मार्शल आर्ट में करियर बनाने के लिए प्रोत्साहित किया। पिता से मिले सहयोग के दम पर रेनू ने कई राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में हिस्सा लिया। वो 59वें राष्ट्रीय स्कूल गेम्स में स्वर्ण पदक हासिल करने में सफल रहीं। इसके बाद उन्होंने 60वें राष्ट्रीय स्कूल गेम्स में कांस्य पदक जीता। आगे पढ़िए
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रेनू की सफलता का सफर आगे बढ़ ही रहा था कि तभी साल 2017 में रेनू के पिता जोत सिंह का अचानक निधन हो गया। पिता की मौत ने इस होनहार खिलाड़ी को भीतर तक झकझोर कर रख दिया। नतीजा ये रहा कि एक साल तक रेनू ने खेल से दूरी बना ली। परिवार की आर्थिक स्थिति बिगड़ने लगी तो वो मां के साथ हल्द्वानी में रहने लगीं। वो रुद्रपुर की प्राइवेट कंपनी में जॉब कर घर के खर्चों में मदद करने लगीं। मां ने भी बेटी की पढ़ाई के लिए कर्ज लिया। इस वक्त रेनू एमबीपीजी कॉलेज हल्द्वानी से एमए कर रही हैं। उन्होंने पढ़ाई जारी रखने के साथ ही खेल में दोबारा वापसी भी की है। रेनू का उत्साह बढ़ाने के लिए नेशनल कराटे एकेडमी इंडिया के महासचिव एवं एशियन कोच सतीश जोशी ने उन्हें कोच के तौर पर अहम जिम्मेदारी दी है। अब रेनू क्षेत्र के होनहार खिलाड़ियों को मार्शल आर्ट की ट्रेनिंग देंगी।