गढ़वाल: 1 गांव में 30 लोग एक साथ कोरोना पॉजिटिव..700 लोगों की आबादी पर खतरा
कोटद्वार के जयहरीखाल प्रखंड की सबसे बड़ी ग्राम सभा बंदूण में घातक हुआ कोरोना। 40 में से 30 ग्रामीणों के अंदर हुई कोरोना संक्रमण की पुष्टि। प्रशासन द्वारा गांव को सील करने की तैयारी की जा रही है।
May 7 2021 2:11PM, Writer:Komal Negi
कोरोना संक्रमण किस हद तक घातक साबित हो सकता है यह उत्तराखंड में साफ देखने को मिल रहा है। सबसे चिंता की बात यह है कि अब यह वायरस मैदानी इलाकों के साथ-साथ में पहाड़ों पर भी फैल रहा है। पहाड़ों पर वायरस का फैलना चिंताजनक इसलिए है क्योंकि पहाड़ों पर स्वास्थ्य सुविधाओं की भारी कमी है। लोगों को कोसों मीलों दूर चल कर अस्पताल पहुंचना पड़ता है। ऐसे में पहाड़ों पर संक्रमण का फैलना खतरे की निशानी है। पर्वतीय क्षेत्रों के लगभग सभी गांव में यह वायरस दस्तक दे चुका है और वहां पर भी परिस्थितियां बेकाबू हो रही हैं। लोग तेजी से इस वायरस की चपेट में आ रहे हैं। ग्रामीण क्षेत्रों में बुखार की शिकायतें लगातार बढ़ रही हैं। उनके पास बेहतर इलाज का कोई जरिया भी नहीं है। इस बीच कोटद्वार से एक बेहद बुरी खबर सामने आ रही है। अब कोटद्वार के ग्रामीण क्षेत्रों में भी यह वायरस दस्तक दे चुका है। शहरी क्षेत्रों तक सिमटे हुए कोरोना संक्रमण के मामलों ने अब कोटद्वार के गांव में भी पैर पसारने शुरू कर दिए हैं। बीते गुरुवार को कोटद्वार के जयहरीखाल प्रखंड की सबसे बड़ी ग्राम सभा बंदूण में 40 में से 30 ग्रामीणों के अंदर इस संक्रमण की पुष्टि हुई है जिसके बाद वहां पर हड़कंप मच गया।
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सबसे अधिक चिंता की बात यह है कि गांव के अंदर तकरीबन 700 से भी अधिक लोग रहते हैं। ऐसे में उन सबकी जान के ऊपर भी बड़ा खतरा मंडरा रहा है। अगर जरा सी भी लापरवाही होती है तो अधिकांश ग्रामीण इस वायरस की चपेट में आ सकते हैं। दरअसल गांव में कुछ दिनों पहले ही काफी ग्रामीणों को बुखार एवं खांसी की शिकायत हुई जिसके बाद ग्राम प्रधान ने स्वास्थ्य विभाग से संपर्क साधा और स्वास्थ्य विभाग की टीम गांव में पहुंची। 3 दिन पहले स्वास्थ्य विभाग की टीम गांव में पहुंची एवं स्वास्थ्य विभाग की टीम ने 40 ग्रामीणों के सैंपल लिए। जब सैंपल की रिपोर्ट आई तब स्वास्थ्य विभाग में भी हड़कंप मच गया क्योंकि 40 में से 30 लोगों के अंदर संक्रमण की पुष्टि हुई। गांव में कोरोना बम फूटने के बाद बिना देरी के स्वास्थ्य विभाग की टीम ने गांव के 43 और ग्रामीणों के सैंपल जांच के लिए भेज दिए हैं।
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मई को जयहरीखाल स्वास्थ्य केंद्र से स्वास्थ्य विभाग की टीम इस गांव में पहुंची थी और जिन ग्रामीणों को बुखार की शिकायत थी उनके सैंपल लिए गए थे। मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ मनोज शर्मा के मुताबिक गांव में तकरीबन 40 ग्रामीणों के सैंपल लिए गए जिनमें से 30 के अंदर कोरोना की पुष्टि हुई है। उनका कहना है कि सभी ग्रामीणों को एहतियात बरतने की हिदायत दे दी है और उनको कोरोना किट दे दी गई है। ग्राम प्रधान अंजली देवी का कहना है कि गांव में पिछले कई दिनों से बुखार की शिकायत बढ़ रही थी। गांव में कुछ दिनों पहले अप्रैल के अंतिम सप्ताह में कई शादियां हुई थीं जिसमें लगभग सभी लोग शामिल हुए थे और साथ ही ग्रामीणों का सतपुली की ओर आना-जाना भी लगा हुआ था जिस कारण गांव के अंदर यह संक्रमण फैला। ग्राम प्रधान अंजली देवी का कहना है कि गांव में लोग जांच करवाने से कतरा रहे हैं। उन्होंने बताया कि जिन ग्रामीणों की तबीयत अधिक खराब थी वे उनके पास स्वयं गईं और कोराना जांच कराने की सलाह दी मगर उसके बावजूद भी कई ग्रामीण स्वास्थ्य जांच के लिए तैयार नहीं हुए। वहीं अब प्रशासन गांव को कंटेनमेंट जोन बनाने की तैयारी कर रहा है।