उत्तराखंड: शिव भक्ति का असर, बीते 40 सालों से कांवड़ यात्रा कर रहा है चंद्रसेन परिवार
महाशिवरात्रि 2022- भोले की भक्ति में लीन है चंद्रसेन परिवार, 40 सालों से पूरा परिवार निकालता है kaanvd यात्रा
Feb 24 2022 2:24PM, Writer:अनुष्का ढौंडियाल
शिवरात्रि...इस दिन का शिव भक्तों साल भर इंतजार करते हैं। भोलेनाथ की बात ही कुछ ऐसी है। जो भी उनको मन से मानता है उनका ही होकर रह जाता है। शिवरात्रि बस आने ही वाली है और शिवरात्रि पर उत्तराखंड में माहौल भोलेनाथ के रंग में रंग जाता है। शिव के स्मरण में उनकी पूजा करने के लिए और गंगाजल लेने के लिए देश के कोने-कोने से लोग कांवड़ यात्रा करने हरिद्वार आते हैं। आज हम आपको उत्तराखंड के एक ऐसे परिवार के बारे में बताने जा रहे हैं जो कि भोलेनाथ के महा भक्त हैं और पिछले 40 सालों से भोलेनाथ के ऊपर अटूट श्रद्धा रखते हुए कांवड़ यात्रा कर रहे हैं। रामनगर का चंद्रसेन परिवार बीते 40 सालों से भोले की भक्ति में डूबा हुआ है और वे इस कदर में भोलेनाथ को मानते हैं कि 40 साल से कांवड़ यात्रा निकाल रहे हैं। शिव के प्रति रामनगर के चंद्रसेन कश्यप के परिवार की अटूट श्रद्धा है और चंद्रसेन का परिवार पिछले 40 साल से कांवड़ यात्रा निकाल रहा है। अपने पूरे परिवार के साथ वे 40 वर्षों से कांवड़ यात्रा निकालते हैं और अब उनका 12 वर्ष का बेटा अनुज भी कांवड़ यात्रा में उनका सहयोग करता है। बता दें कि उनके बेटे अनुज ने मात्र 6 साल से यात्रा करना शुरू किया। बता दें कि चंद्रसेन कश्यप का परिवार हरिद्वार से जल भरकर पैदल रामनगर आता है।
वे कहते हैं कि उनकी भोलेनाथ पर अपार श्रद्धा है और वे हर वर्ष कांवड़ यात्रा पर जाते हैं। उनके छोटे बेटे अनुज कश्यप, उससे बड़ा पुत्र अर्जुन कश्यप और किशन कश्यप भी लगातार अपने पिता के साथ 20 सालों से कांवड़ ला रहे हैं। 12 वर्ष का अनुज पिछले 6 सालों से अपने माता-पिता और भाइयों के साथ लगातार कांवड़ रहा है और उसका कहना है कि उसे कावड़ यात्रा करने में बहुत आनंद आता है और वह अपने मम्मी-पापा और बड़े भैया के साथ पिछले 6 सालों से कावड़ यात्रा कर रहा है। वहीं चंद्रसेन कश्यप की पत्नी गीता कश्यप का कहना है कि जब से उनकी शादी हुई तब से वे लगातार अपने पति के साथ यात्रा पर जा रही हैं। शिवरात्रि आने वाली है और एक बार फिर से पूरे परिवार के बीच में कांवड़ लाने को लेकर उत्साह साथ देखने को मिल रहा है और पूरा परिवार बीते मंगलवार को ही कांवड़ लेने के लिए हरिद्वार यात्रा पर निकल चुका है। इस बार महाशिवरात्रि पर बड़ी संख्या में शिव भक्तों के नीलकंठ मंदिर में पहुंचने की उम्मीद है। इससे स्थानीय व्यवसायियों के चेहरे खिले हुए हैं। इस बार महाशिवरात्रि के अवसर पर बड़ी संख्या में शिव भक्तों के नीलकंठ मंदिर में पहुंचने की उम्मीद है क्योंकि इस वर्ष कोरोना का कहर पिछले साल के मुकाबले काफी कम है और सरकार की ओर से भी ज्यादातर प्रतिबंध हटा लिए गए हैं। ऐसे में महाशिवरात्रि पर्व के अवसर पर शिव भक्तों ने कांवड़ लेकर नीलकंठ की ओर रुख करना शुरू कर दिया है। बड़ी संख्या में शिव भक्त कांवड़ लेकर नीलकंठ मंदिर में दर्शनों के लिए पहुंच रहे हैं।