उत्तराखंड में शोक की लहर, आतंकियों से मुठभेड़ में शहीद हुए रुचिन रावत..गांव में पसरा मातम
लांसनायक रुचिन रावत अपने पीछे दादा-दादी, माता-पिता, पत्नी और एक चार साल के बेटे को रोता बिलखता छोड़ गए हैं।
May 6 2023 12:57PM, Writer:कोमल नेगी
उत्तराखंड के जांबाज सपूत देश के लिए अपना सर्वोच्च बलिदान देने के लिए जाने जाते हैं। यहां के एक और लाल ने देश की रक्षा करते हुए अपनी शहादत दी है।
Uttarakhand Martyr Ruchin Rawat
गैरसैंण के रहने वाले जवान रुचिन रावत जम्मू-कश्मीर के रजौरी सेक्टर में दुश्मनों से लड़ते हुए शहीद हो गए। जब से बेटे की शहादत की खबर घर पहुंची है, परिवार-गांव में मातम पसरा है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने भी जवान की शहादत पर गहरा शोक जताते हुए उन्हें नमन किया। शहीद का पार्थिव शरीर उनके पैतृक गांव लाया जा रहा है। जहां सैन्य सम्मान के साथ उन्हें अंतिम विदाई दी जाएगी। बीते दिनों जम्मू-कश्मीर के रजौरी सेक्टर में देश की रक्षा करते हुए 5 जवान शहीद हो गए, जिनमें उत्तराखंड के रुचिन रावत भी शामिल हैं। रुचिन रावत पुत्र राजेंद्र सिंह रावत का परिवार गैरसैंण चौखुटिया के ग्राम कूनीगाड़ में रहता है। उनके निधन का समाचार मिलते ही पहाड़ में शोक पसर गया। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने इस घटना पर दुख जताया।
उन्होंने कहा कि जम्मू-कश्मीर के राजौरी में हुई आतंकी मुठभेड़ में उत्तराखंड के लाल, चमोली निवासी लांस नायक रुचिन सिंह रावत जी के शहीद होने का दुःखद समाचार प्राप्त हुआ। ईश्वर से प्रार्थना है कि दिवंगत आत्मा को अपने श्री चरणों में स्थान व शोकाकुल परिजनों को यह दुःख सहन करने की शक्ति प्रदान करें। देश के लिए अपना सर्वस्व न्योछावर करने वाले वीर सपूत को मेरा शत-शत नमन। रुचिन अपने पीछे दादा-दादी, माता-पिता, पत्नी और एक चार साल के बेटे को रोता बिलखता छोड़ गए हैं। रुचिन की पत्नी और बेटा उनके साथ जम्मू-कश्मीर के उधमपुर में ही रहते हैं। रुचिन रावत (30) 2009-10 में सेना में भर्ती हुए थे। उनके शहीद होने की सूचना मिलते ही कुनीगाड़ सहित पूरे गैरसैंण क्षेत्र में शोक की लहर छा गई है।