पिथौरागढ़ उपचुनाव: त्रिवेन्द्र सरकार का लिटमस टेस्ट, स्व. प्रकाश पंत के उत्तराधिकारी की तलाश
बीजेपी स्व. प्रकाश पंत की पत्नी को चुनाव मैदान में उतारना चाहती थी, पर उन्होंने चुनाव लड़ने से इनकार कर दिया...
Oct 28 2019 11:50AM, Writer:कोमल नेगी
पिथौरागढ़ में उप चुनाव होने वाले हैं। चुनाव की तारीख घोषित हो गई है। यहां 25 नवंबर को उपचुनाव होंगे। चुनाव की तारीख का ऐलान होते ही पूर्व विधायक स्व. प्रकाश पंत के उत्तराधिकारी को लेकर चर्चाएं तेज हो गई हैं। बीजेपी के पास पांच नाम हैं, तो वहीं कांग्रेस से दो नाम सामने आए हैं। उप चुनाव के लिए बीजेपी के पैनल में जो नाम गए हैं उनमें भूपेश पंत का नाम सबसे ऊपर है। भूपेश पंत स्वर्गीय प्रकाश पंत के भाई हैं। केएमवीएन के अध्यक्ष केदार जोशी, बीजेपी के जिलाध्यक्ष वीरेंद्र वल्दिया, नगर पालिका अध्यक्ष राजेंद्र रावत और पूर्व दर्जा राज्यमंत्री महेंद्र लुंठी के नामों पर भी विचार हो सकता है। कांग्रेस की तरफ से प्रदेश प्रवक्ता मथुरा दत्त जोशी ने दावेदारी की है। इसके अलावा वरिष्ठ नेता कुंवर सिंह बोहरा भी टिकट मांग रहे हैं। अब आपको पिथौरागढ़ के राजनीतिक समीकरण के बारे में बताते हैं। राज्य गठन के बाद पिथौरागढ़ सीट पर तीन बार बीजेपी और 1 बार कांग्रेस के विधायक रहे हैं।
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साल 2002 में पहले विधानसभा चुनाव में प्रकाश पंत जीते थे। 2007 में भी उन्होंने जीत हासिल की। साल 2012 में वो चुनाव हार गए थे। उस वक्त कांग्रेस के मयूख महर विधायक बने। साल 2017 में एक बार फिर प्रकाश पंत विधायक बने। पंत के निधन के बाद अब पिथौरागढ़ सीट पर उप चुनाव होने हैं। बीजेपी और कांग्रेस तैयारी में जुटे हैं, पर अभी किसी ने भी प्रत्याशी के नामों का ऐलान नहीं किया है। बीजेपी पहले स्व. प्रकाश पंत की धर्मपत्नी को प्रत्याशी बनाना चाहती थी, पर उन्होंने चुनाव लड़ने से इनकार कर दिया। अब बीजेपी प्रकाश पंत के छोटे भाई भूपेश पंत को टिकट दे सकती है। भूपेश राजनीति में पहले से सक्रिय हैं। बीजेपी की तरफ से भूपेश पंत का नाम टॉप पर है तो वहीं कांग्रेस मयूख महर को मैदान में उतार सकती है।