उत्तराखंड: धन्य हैं ऐसे सास-ससुर..खुद करवाया विधवा बहू का कन्यादान, बेटी की तरह किया विदा
ऋषिकेश में विधवा बहू का जीवन संवारने के लिए सास-ससुर ने जो किया, वो जानकर आप भी इनकी सोच को सलाम करेंगे।
Jun 25 2022 5:43PM, Writer:कोमल नेगी
कहते हैं आधुनिकता विचारों में होनी चाहिए। आज इंसान में विचार करने की शक्ति और भावनाएं खत्म हो गई हैं, इसलिए रिश्ते, भावनाएं सबकुछ गौण होने लगे हैं।
Father in law did kanyadan of daughter-in-law in rishikesh
हम हर दिन ससुराल वालों द्वारा बहू पर किए जाने वाले अत्याचारों और दहेज हत्या की खबरें पढ़ते हैं, लेकिन ऋषिकेश में विधवा बहू का जीवन संवारने के लिए एक सास-ससुर ने जो किया, वो जानकर आप भी इनकी सोच को सलाम करेंगे। ऋषिकेश के खैरीखुर्द निवासी लखेड़ा दंपती ने बेटे के निधन के बाद अपनी बहू की शादी करवाकर उसे बेटी के रूप में विदा किया। शहर में रहने वाले आनंदस्वरूप लखेड़ा के बेटे प्रशांत लखेड़ा की शादी 24 नवंबर 2020 को कंचन के साथ हुई थी। शादी के करीब छह महीने बाद ही 26 मई 2021 को प्रशांत का कोरोना संक्रमण से अकस्मात निधन हो गया। उनकी बहू कंचन मात्र 25 साल की उम्र में विधवा हो गई।
बहू का एकाकीपन देखकर लखेड़ा दंपति ने कंचन को नई जिंदगी शुरू करने का हौसला दिया। इसके बाद उन्होंने अपनी इस बेटी के लिए रिश्ते की तलाश शुरू कर दी। बात आगे बढ़ी तो सुशील डोगरा मूल निवासी हमीरपुर हिमाचल प्रदेश हाल निवासी विकासनगर देहरादून से रिश्ता पक्का हो गया। शुक्रवार 24 जून को सत्यनारायण मंदिर में हुए सादे समारोह में कंचन और सुशील ने सात फेरे लिए। शादी में हिस्सा लेने आए सभी लोगों ने लखेड़ा दंपति के प्रयास और उनकी सोच की सराहना की। बता दें कि ऋषिकेश में साल 2020 में भी एक ऐसा ही विवाह हुआ था। तब मायाकुंड निवासी गोविंद भारद्वाज और बाला देवी ने अपनी विधवा बहू जमुना का विवाह करवाया था। गोविंद भारद्वाज के बेटे सिद्धार्थ की एक सड़क हादसे में मौत हो गई थी। जिसके बाद सास-ससुर ने बहू जमुना का पुनर्विवाह कराकर समाज के लिए मिसाल पेश की थी।