जय देवभूमि: भगवान तुंगनाथ ने पुल पर जाने से किया मना, उफनती नदी के रास्ते ले गए लोग..देखिए
तृतीय केदार भगवान तुंगनाथ की देवरा यात्रा (Lord tungnath devra yatra video) के दौरान अद्भुत घटना देखने को मिली। देवता ने पुल से जाने से इनकार कर दिया, जिसके बाद श्रद्धालु उन्हें नदी के रास्ते गांव तक ले गए, देखिए वीडियो..
Feb 24 2020 1:48PM, Writer:कोमल नेगी
देवभूमि उत्तराखंड...यानि शिव की भूमि। इस प्रदेश की अनोखी परंपराएं हैं, मान्यताएं हैं। यहां भगवान मंदिरों-प्रतीकों से ज्यादा आम जनमानस का हिस्सा हैं। वो स्वयं को विशिष्ट ना मानकर आम लोगों से सीधा संवाद करते हैं, उनसे मिलते हैं, उन्हें आशीर्वाद देते हैं, यही विशेषता उत्तराखंड और यहां की देव यात्राओं को अलौकिक बनाती है। एक ऐसा ही अलौकिक नजारा रुद्रप्रयाग में देखने को मिला, जहां भगवान तुंगनाथ की देवरा यात्रा (Lord tungnath devra yatra video) के दौरान भगवान की डोली पुल की बजाय उफनती नदी से होकर गुजरी। इस अलौकिक घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर देखने को मिला। इस वीडियो में आप साफ देख सकते हैं कि भगवान की डोली उफनती नदी से होकर जा रही है, जबकि पुल पर हजारों की तादाद में मौजूद लोग जयकारे लगाते हुए शंखनाद कर रहे हैं। आगे देखिए वीडियो
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तृतीय केदार भगवान तुंगनाथ देवरा यात्रा के दौरान अपने भाईयों से मिलते हैं। वो गांव-गांव जाकर अपने भक्तों की कुशलक्षेम पूछते हैं, उन्हें आशीर्वाद देते हैं। ये वीडियो हाल में संपन्न हुई देवरा यात्रा का है। श्रद्धालुओं ने बताया कि जब वो भगवान की डोली को लेकर पुल की तरफ बढ़े तो भगवान ने पुल से जाने से इनकार कर दिया। उन्होंने नदी का रास्ता चुना। देवता के आदेश की अनदेखी भला कौन कर सकता है। ईश्वर का नाम लेकर सभी श्रद्धालु उफनती नदी में उतर गए। लोग सांसें रोककर डोली को नदी से गुजरते देखते रहे। जैसे ही डोली नदी के पार पहुंची, पूरा क्षेत्र भगवान तुंगनाथ के जयकारों से गूंज उठा। श्रद्धालुओं ने कहा कि भगवान ने नदी की राह दिखाकर उन्हें प्रकृति से जुड़े रहने और नदियों का सम्मान करने का संदेश दिया है, इस संदेश को हम मानव जितनी जल्दी समझ लें, हमारे हित में होगा। प्रकृति को सम्मान देना जरूरी है। आगे देखिए वीडियो
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देवरा यात्रा (Lord tungnath devra yatra video) के दौरान भगवान तुंगनाथ ने ऊखीमठ में ओंकारेश्वर मंदिर पहुंचकर अपने बड़े भाई द्वितीय केदार मदमहेश्वर से मुलाकात भी की। इस दौरान द्वितीय केदार ने उन्हें पंचगाईं गांवों के भ्रमण की अनुमति देते हुए सोने का छत्र भी सौंपा। देवरा यात्रा के दौरान भगवान तुंगनाथ ने पंचगाईं गांव भटवाड़ी, डंगवाड़ी, चुन्नी-मंगोली, किमाणा, जाखड़ी गांव पहुंचकर भक्तों की कुशलक्षेम पूछी। ग्रामीणों ने देवता के दर्शन करते हुए अर्घ्य लगाकर सुख-समृद्धि की मनौति मांगी। इस अलौकिक यात्रा का वीडियो राज्य समीक्षा आपके लिए लेकर आया है, जिसे आप यहां देख सकते हैं...