image: Rajendra Prasad shot at Lieutenant Sanjay Chand

उत्तराखंड: लेफ्टिनेंट संजय की मौत को लेकर बड़ा खुलासा, साथी ने ही शरीर पर दागी 20 गोलियां

शहीद जवान को श्रद्धांजलि देना तो ठीक है, लेकिन ‘पहले हम, पहले हम’ की रेस में नेता मामले की पूरी सच्चाई ही परखना भूल गए। यहां संजय की उग्रवादियों के हमले में मौत की बात कही जा रही है।
Aug 9 2021 1:38PM, Writer:Komal Negi

शनिवार का दिन उत्तराखंड के लिए एक मनहूस खबर लाया। असम के तिनसुकिया जिले में सेना के एक जवान ने अपने सहकर्मी पर फायरिंग कर उसकी हत्या कर दी। दुर्भाग्य से जिस जवान की हत्या हुई, वो उत्तराखंड के रहने वाले लेफ्टिनेंट संजय चंद है। संजय अपने साथी के हाथों मारे गए, लेकिन हैरानी की बात ये है कि उत्तराखंड में लोग अब भी उनकी मौत के सच से अनजान हैं। नेता उन्हें उग्रवादी हमले में शहीद बताकर श्रद्धांजलि दे रहे हैं। श्रद्धांजलि देना तो ठीक है, लेकिन ‘पहले हम, पहले हम’ की रेस में नेता मामले की पूरी सच्चाई परखना ही भूल गए। बता दें कि लेफ्टिनेंट संजय चंद इन दिनों असम में तैनात थे। शनिवार को आरोपी लांसनायक राजेंद्र प्रसाद और उनके बीच किसी बात पर बहस हो गई, बहस इतनी बढ़ी कि लांसनायक राजेंद्र प्रसाद ने अपने इंसास असॉल्ट राइफल की मैगजीन में मौजूद सभी गोलियां संजय चंद के शरीर में उतार दी। जिससे उनकी मौके पर ही मौत हो गई। संजय चंद पिथौरागढ़ जिले के मूल निवासी थे। इस बीच खबर आई की संजय की मौत उग्रवादियों की गोली से हुई, उनके गांव में भी लोग पूरे मामले से अनजान थे। आगे पढ़िए

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इधर लाइपुली इलाके में सेना के वरिष्ठ अधिकारियों की सूचना पर आरोपी राजेंद्र प्रसाद को हिरासत में लिया गया है। पुलिस अभी ये पता लगा रही है कि राजेंद्र और संजय के बीच किस बात को लेकर बहस हुई। संजय चंद के शव को पोस्टमॉर्टम के लिए तिनसुकिया सिविल अस्पताल भेजा गया है। पुलिस ने घटनास्थल से असॉल्ट राइफल और 20 राउंड कारतूस जब्त किए हैं। बड़ावे क्षेत्र के तोली गांव निवासी संजय चंद (34 वर्ष) कुमाऊं रेजीमेंट में तैनात थे। उनके दो छोटे बच्चे हैं। संजय मई में छुट्टी पर घर आए थे। परिजनों ने बताया कि मिलनसार संजय का लोगों के साथ अच्छा व्यवहार था, वो साल 2008 में सेना का हिस्सा बने थे। जबसे उनके निधन की खबर घर पहुंची है, वहां कोहराम मचा है। तहसीलदार पंकज चंदोला ने कहा कि क्षेत्र के एक जवान की सीमा पर निधन की सूचना ग्रामीणों से मिली है, जवान का पार्थिव शरीर कब तक पहुंचेगा, इस बारे में फिलहाल कोई जानकारी नहीं मिली है।


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