16, 17 जुलाई को बंद रहेंगे बदरी-केदार धाम के कपाट..149 सालों के बाद बनेगा ये खास संयोग
16 और 17 जुलाई को होने वाला चंद्रग्रहण कई मायनों में ख़ास है। बदरी-केदार सहित सभी धामों के कपाट इस दिन बंद रहेंगे। पढ़िए ये ख़ास खबर..
Jul 15 2019 1:24PM, Writer:कपिल
16 जुलाई सांय से 17 जुलाई प्रात: तक चंद्र ग्रहण के दौरान कपाट बंद रहेंगे। उत्तराखंड के श्री गंगोत्री-यमुनोत्री धाम, श्री नृसिंह मंदिर, पंच बदरी-पंच केदार, श्री कालीमठ, श्री त्रिजुगीनारायण, ग्रहण काल में बंद रहेंगे। 17 जुलाई के चंद्रग्रहण के कारण 16 जुलाई को शाम को 4:25 बजे से श्री बदरीनाथ, श्री केदारनाथ, बदरी-केदार के अधीनस्थ मंदिरों सहित श्री गंगोत्री, श्री यमुनोत्री धाम के रहेंगे कपाट बंद होंगे। चंद्र ग्रहण 17 जुलाई रात 1:31बजे से लेकर 4:31 बजे तक है ग्रहणकाल से 9 घंटे पहले सूतक काल माना जाता है। सूतक काल के चलते रहेंगे मंदिर बंद रहेंगे। इसके बाद 17 जुलाई को प्रातः 4:40 बजे बदरीनाथ मंदिर खुलेगा जहां पर 6 बजे से अभिषेक पूजा शुरू होगी। 17 जुलाई रात 1:31 बजे से प्रातः 4:31 बजे तक 3 घंटे का चंद्रग्रहण है। ग्रहणकाल से 9 घंटे पहले सूतक काल माना जाता है। इसका असर देश - विदेश के सभी मंदिरो पर भी पड़ेगा और ठीक 9 घण्टे पहले मंदिरों के कपाट बंद हो जायेंगे। भू बैकुण्ड धाम की बात करे तो बदरीनाथ के कपाट 16 जुलाई को शाय 4:25 बजे बंद हो जायेगे। इसके लिए सांय 3:15 बजे सायंकालीन मंगल आरती पूजा होगी। 3:45 बजे भोग और शयन आरती होगी। इसके बाद सायं 4:25 बजे मंदिर के कपाट बंद हो जाएंगे।
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यहां ख़ास बात ये भी है कि आने वाले चंद्रग्रहण में गुरू पूर्णिमा पर सूर्य की कर्क संक्रांति और खग्रास चंद्रग्रहण का संयोग 149 साल बाद हो रहा है। 16 जुलाई को आषाढ़ शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा तिथि है और इसी दिन पूर्व आषाढ़ नक्षत्र भी है जो रात 8 बजकर 46 मिनट तक रहेगा। ख़ास संयोग ये है कि इस दिन सूर्य की कर्क संक्रांति भी है जो सुबह 4 बजकर 34 मिनट से शुरू होगी। हिन्दू धर्म में प्रचलित मान्यताओं के अनुसार जब सूर्य कर्क राशि में प्रवेश करता है तो उसे सूर्य की कर्क संक्रांति कहा जाता है। सूर्य की कर्क संक्रांति, गुरू पूर्णिमा, कर्क संक्रांति होने के साथ-साथ 16 जुलाई को खग्रास चंद्रग्रहण भी है जिस कारण यह संयोग बेहद खास माना जा रहा है। ज्योतिषियों के अनुसार 149 साल बाद 16 जुलाई को लगने वाला चंद्र ग्रहण बेहद खास है और यह खग्रास चंद्रग्रहण 17 जुलाई की रात 01.31 मिनट से शुरू होगा और सुबह 4.30 मिनट तक चलेगा इस कारण 9 घंटे पहले ही सूतक लग जाएगा।