उत्तराखंड में फलों की खेती करने वालों के लिए गुड न्यूज, CM ने दिए 6 निर्देश..आप भी जानिए
सूअर, बंदर आदि जंगली जानवरों से खेती को होने वाले नुकसान का सर्वे करते हुए अधिक प्रभावित क्षेत्रों में किसानों को राहत पहुंचाने के लिए तार-बाड़, दीवार बनाने का काम प्राथमिकता से किया जाएगा।
Nov 2 2020 11:27PM, Writer:Komal Negi
मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने राज्य में सेब, नाशपाती सहित अन्य फलों के बागों के पुनर्जीविकरण व विस्तारीकरण के लिए भरसार विवि और जीबी पंत विवि के कुलपतियों की एक समिति बनाने के निर्देश दिए हैं। किसानों के स्किल डेवलपमेंट की योजना बनाई जाए। उन्होंने कहा कि फार्म मशीनरी बैंक और माइक्रो इरीगेशन का लाभ अधिकतम गांवों तक पहुंचाना सुनिश्चित किया जाए। सूअर, बंदर आदि जंगली जानवरों से खेती को होने वाले नुकसान का सर्वे करते हुए अधिक प्रभावित क्षेत्रों में किसानों को राहत पहुंचाने के लिए तार-बाड़, दीवार बनाने का काम प्राथमिकता से किया जाए। सीएम आवास में आयोजित बैठक में मुख्यमंत्री ने कैबिनेट मंत्री सुबोध उनियाल के साथ कृषि, उद्यान, रेशम विकास विभागों की समीक्षा की। इस दौरान सीएम ने ये निर्देश दिए...आगे पढ़िए
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1- आधुनिकतम तकनीक से फलों की खेती को लाभप्रद बनाया जाए
मुख्यमंत्री ने कहा कि वर्तमान में सेब व अन्य फलों की खेती को आधुनिकतम तकनीक के उपयोग द्वारा लाभप्रद बनाया जाए। आवश्यकता होने पर दूसरी किस्मों से बदला भी जा सकता है। इसके लिए औद्यानिकी विभाग ठोस काम करे। किसानों के स्किल डेवलपमेंट के लिए योजना बनाई जाए। मुख्यमंत्री ने राज्य में सेब, नाशपाती सहित अन्य फलों के बागों के पुनर्जीविकरण व विस्तारीकरण के लिए भरसार विवि और जीबी पंत विवि के कुलपतियों की एक समिति बनाने के निर्देश दिए।
2- फार्म मशीनरी बैंक से जुडें अधिकाधिक गांव
मुख्यमंत्री ने कहा कि फार्म मशीनरी बैंक किसानों के लिए काफी लाभप्रद हो रहे हैं। प्रयास किए जाएं कि अधिक से अधिक गांव इसके अंतर्गत आ सकें। माइका्रे इरीगेशन पर भी विशेष ध्यान दिए जाने की आवश्यकता है। विभाग इसके लिए कार्ययोजना बनाए।
3- जंगली जानवरों से खेती को नुकसान का हो सर्वे
मुख्यमंत्री ने कहा कि खेती में एक बड़ी समस्या जंगली जानवरों के कारण आ रही है। सूअर, बंदर आदि जानवरों से खेती को होने वाले नुकसान का व्यापक सर्वे किया जाए। जिन क्षेत्रों में समस्या ज्यादा गम्भीर है, वहां प्राथमिकता के आधार पर तार-बाड़, दीवार आदि बनाने का काम किया जाए
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4- किसान सम्मान निधि में सावधानी से हो डाटा फीडिंग
मुख्यमंत्री ने कहा कि जैविक खेती का और विस्तार किए जाने की जरूरत है। जैविक उत्पादों के विपणन के लिए ग्रोथ सेंटरों का उपयोग किया जाए। नमामि गंगे के तहत गंगा किनारे जैविक कृषि के लिए चयनित गांवों में मानिटरिंग की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। किसान सम्मान निधि में किसी तरह की शिकायत न आए। इसके लिए डाटा फीडिंग सावधानीपूर्वक की जाए
5- कृषि से जुड़ी शिक्षण संस्थान निकटवर्ती गांवों में काम करें
मुख्यमंत्री ने कहा कि कीड़ा जड़ी, मशरूम आदि उत्पादों पर रिसर्च की जाए। कृषि व औद्यानिकी से जुड़ी शिक्षण संस्थानों के छात्रों को प्रायोगिक ज्ञान के लिए निकटवर्ती गांवों में भेजे जाएं। भरसार व जीबी पंत विवि अपने निकवर्ती गांवों में कार्य करें। जल्द से जल्द चाय विकास बोर्ड की बैठक आयोजित की जाए। अधिकारी फील्ड में जाएं और वहां किसानों से मिलकर उनकी समस्याओं को दूर करें।
6- 3 K आर्गेनिक उत्तराखण्ड आउटलेट
कृषि मंत्री सुबोध उनियांल ने कहा कि प्रदेश के आर्गेनिक उत्पादों की मार्केटिंग के लिए ‘3 K आर्गेनिक उत्तराखण्ड आउटलेट’ स्थापित किए जाएंगे। यहां 3 K (के) से तात्पर्य कृषि एवं कृषक कल्याण है। अगले 2 वर्ष में 1300 आउटलेट बनाए जाने का लक्ष्य रखा गया है। राज्य में किसानों को लाभकारी खेती के लिए प्रेरित किया जा रहा है। हरिद्वार में बहुत से किसानों ने गन्ने की खेती के स्थान लेमनग्रास की खेती शुरू की है। उन्हें इसकी अच्छी कीमत भी मिल रही है। एकीकृत फार्मिंग की कन्सेप्ट पर भी काम किया जा रहा है।